Breaking News

आवश्यक सूचना: प्रदेश जागरण के सभी निर्गत परिचय पत्र निरस्त किये जा चुके हैं | अगस्त 2022 के बाद के मिलने या दिखने वाले परिचय पत्र फर्जी माने जाएंगे |

आज है संगीतकार आर डी बर्मन का जन्मदिन, 6 साल बड़ी आशा भोसले से ‘पंचम दा’ ने की थी दूसरी शादी

गुरुदत्त की फिल्म प्यासा का गाना सर जो तेरा चकराए… की धुन तैयार करने वाले बॉलीवुड के दिग्गज संगीतकार और संगीत निर्देशक आर डी बर्मन का 79वां जन्मदिन है. उन्हें फिल्म जगत में पंचम दा के नाम से पुकारा जाता था. 60, 70 और 80 के दशक में कई सुपरहिट गाने देने वाले आरडी बर्मन को हिंदी फिल्मों में आधुनिक संगीत का जनक माना जाता है. वे आज भी अनुकरणीय हैं.

हिंदी फिल्मों में आधुनिक संगीत का जनक

किशोर कुमार, लता मंगेशकर और आशा भोसले के साथ पंचम दा के कई सुपरहिट गाने रिकार्ड हुए हैं. आरडी बर्मन का निधन चार जनवरी 1994 को हुआ था. विधु विनोद चोपड़ा की फिल्म ‘1942 अ लव स्टोरी’ आरडी बर्मन की अंतिम फिल्म थी. इस फिल्म के सभी गाने हिट हुए लेकिन अपनी आखिरी सफलता को आरडी बर्मन साहब देख नहीं पाये.

आशा भोसले-पंचम दा लव स्टोरी

आरडी बर्मन और आशा भोसले की पहली मुलाकात 1956 में हुई थी. तब आशा भोसले ने इंडस्ट्री में अच्छी खासी पहचान बना ली थी.पंचम दा और आशा भोसले दोनों की ही पहली शादी टूट चुकी थी. पंचम दा अपनी पहली पत्नी रीता पटेल से अलग हो गए थे. वहीं आशा भोसले अपने पति गणपतराव भोंसले से बिल्कुल खुश नहीं थीं.

दोनों की जोड़ी ने बॉलीवुड को दिये सुपरहिट गाने

एक दिन ऐसा आया जब दो बेटों और एक बेटी के साथ गर्भवती आशा ने अपनी बहन के घर की ओर रुख किया. उनका तीसरा बेटा इसी के बाद हुआ.इसी बीच आशा भोसले लगातार पंचम के लिए गाने गा रही थीं. दोनों के गाने सुनकर ऐसा लगता था कि पंचम का संगीत और आशा की सुरीली आवाज एक दूसरे के लिए ही बने हैं. कई सालों तक बगैर शब्दों के ही उनके एहसास संगीत की तरह रोमांस बनकर बहते रहे. संगीत उन्हें करीब ला रहा था. इस दौर में दोनों ने एक से बढ़कर एक सुपरहिट गाने दिए.

पंचम दा की मां को पसंद नहीं थी आशा

दोनों की शादी का रास्ता इतना भी आसान नहीं था. आशा की उम्र पंचम से ज्यादा थी जिस वजह से उनकी मां इस रिश्ते के सख्त खिलाफ थीं. जब पंचम ने अपनी मां से शादी की अनुमति मांगी तो उन्होंने गुस्से में कांपती हुई आवाज में कहा- ‘जब तक मैं जिंदा हूं ये शादी नहीं हो सकती, तुम चाहो तो मेरी लाश पर से ही आशा भोसले को इस घर में ला सकते हो.’

आखिरकार दोनों शादी के बंधन में बंध गए

आज्ञाकारी पंचम ने मां से उस वक्त कुछ नहीं कहा और चुपचाप वहां से चले गए. फिर उन्हें शादी के लिए लंबा इंतजार करना पड़ा हालांकि शादी तो उन्होंने मां के जीते जी ही की लेकिन मां की ऐसी हालत हो चुकी थी कि उन्होंने किसी को पहचानना बंद कर दिया था.

पंचम और आशा की ये म्यूजिकल लव स्टोरी का सफर ज्यादा दिन तक नहीं चल सका और शादी के 14 साल बाद ही पंचम दा, आशा भोंसले को अकेले छोड़कर 54 साल की उम्र में इस दुनिया से चले गए. पंचम के चले जाने के बाद आशा बिल्कुल टूट गई थीं. बाद में वो कई सालों बाद सामान्य हो पाईं.