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हनी ट्रैप का खुलासा, पांच युवतियां गिरफ्तार

 

Honey Trap Revealed, Five Women Arrested

भोपाल। मध्य प्रदेश की पुलिस ने हनी ट्रैप के बड़े मामले का खुलासा करते हुए पांच युवतियों को गिरफ्तार करने में सफलता हासिल की है। इनमें तीन को भोपाल और दो को इंदौर से गिरफ्तार किया गया। पूर्व मंत्री के बंगले से हुई इस गिरफ्तारी से प्रदेश में हड़कंप मचा हुआ है।

पुलिस ने बताया कि इंदौर पुलिस द्वारा दर्ज प्राथमिकी के आधार पर इन्हें पकड़ा गया है। ये लोग हनी ट्रैप में फंसाकर अधिकारियों और मंत्रियों को ब्लैकमेल करते थे। गिरफ्तार युवतियों में तीन को भोपाल में पकड़ा गया था, जिसके बाद बुधवार को एटीएस टीम इन्हें लेकर इंदौर पहुंची। इनसे पूछताछ के बाद गुरुवार सुबह पुलिस ने इंदौर से भी दो अन्य युवतियों को गिरफ्तार किया। फिलहाल इनसे पूछताछ की जा रही है।

बताया जा रहा है कि पूछताछ के दौरान इंदौर और भोपाल पुलिस तथा एटीएस टीम को युवतियों के मोबाइल से कई वीडियो क्लिप मिले हैं, जिनकी जांच की जा रही है। वीडियो क्लिप से अंदाजा लगाया जा रहा है कि इन्होंने कई हाई प्रोफाइल लोगों को ब्लैकमेल किया है।

हनी ट्रैप में इस तरह से फंसाया जाता है शिकार को

क्या आप को मालूम है कि हनी ट्रैप किस बला का नाम है और इसके जरिए कैसे अपने शिकार जाल में फंसाया जाता है। हनी ट्रैप ठीक वैसे ही जैसे कोई मक्खी शहद के लालच में उस पर बैठ जाती है और बाद में जब वह रस पीकर उड़ना चाहती है तो उड़ नहीं पाती है। क्योंकि तक उसके पंखों पर शहद लग चुका होता है और वह उड़ नहीं पाती है। वह ट्रैप हो जाती है। उस दौरान न तो वह शहद ही पी पाती है और न ही वहां से उड़कर बाहर निकल पाती है।

दरअसल, दुनिया के तमाम देश अपने दुश्मन का राज जानने के लिए नए-नए हथकंडे आजमाते रहते हैं। उन्हीं में से एक है हनी ट्रैप। इसमें महिलाओं का सहारा लिया जाता है। फेसबुक या हाई प्रोफाइल पार्टियों के जरिए टारगेटेड लोगों की लड़कियों से दोस्ती कराई जाती है।

फिर धीरे धीरे ईमेल और फोन नंबरों का आदान प्रदान कराया जाता है। हनी ट्रैप के मिशन पर निकली महिला उस व्यक्ति के साथ घुमने और मिलने का सिलसिला शुरू करती है। फिर वह महिला दोस्ती की आड़ में जरूरी जानकारियां हासिल करती है। इसके लिए महिला सिर्फ लच्छेदार बातों का ही सहारा नहीं लेती बल्कि अपने शिकार को ब्लैकमेल भी करती है।

अगर टारगेटेड व्यक्ति की कोई आपत्तिजनक तस्वीर या खास बातचीत की कोई डिटेल हाथ लग जाए तो उसे जगजाहिर करने की धमकी दी जाती है। बदनाम होने के डर से वो शख्स गोपनीय राज भी बता देता है।

कई देश हनी ट्रैप का प्रयोग दुश्मन देश से जुड़ा कोई अहम दस्तावेज या खुफिया जानकारी हासिल करने के लिए अक्सर करते हैं और इसके लिए महिला जासूस को विशेषतौर पर इस्तेमाल किया जाता है।

फेसबुक पर हुई इस दोस्ती में कभी भी सामने वाले की असलियत पता नहीं चल पाती। ठीक इसी प्रकार हनी ट्रैप में भी असली पहचान कभी जाहिर ही नहीं होती। इन मामलों में शिकार लोगों को सच्चाई क्या है इसका का इल्म उस वक्त होता है कि वो हनी ट्रैप में फंस चुका होता है।