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कांग्रेस को राहत, हेराल्ड हाउस खाली कराने के आदेश पर सुप्रीम कोर्ट की रोक

नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट ने नेशनल हेराल्ड के प्रकाशक एसोसिएटेड जर्नल्स लिमिटेड (एजेएल) मामले में बड़ी राहत दी है। फिलहाल एजेएल को हेराल्ड हाउस को खाली नहीं करना पड़ेगा। शीर्ष कोर्ट ने शुक्रवार को दिल्ली के आईटीओ स्थित हेराल्ड हाउस खाली करने के आदेश पर रोक लगा दी। इसके साथ ही एसोसिएटेड जर्नल्स लिमिटेड की याचिका पर केंद्र सरकार को नोटिस जारी किया। केंद्र को चार हफ्तों में अपना जवाब दाखिल करना पड़ेगा।

दरअसल, नेशनल हेराल्ड अखबार की प्रकाशक कंपनी एसोसिएटेड जर्नल्स लिमिटेड (एजेएल) ने दिल्ली हाई कोर्ट के हेराल्ड हाउस खाली करने के आदेश को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी है। दिल्ली हाई कोर्ट ने 28 फरवरी को लीज की शर्तें तोड़ने का दोषी पाते हुए एजेएल को दिल्ली के आईटीओ स्थित हेराल्ड हाउस खाली करने का आदेश दिया था।

इससे पहले, एजेएल ने हेराल्ड हाउस को खाली करने के केंद्र के फैसले को दिल्ली हाई कोर्ट में चुनौती दी थी। लेकिन मुख्य न्यायाधीश राजेंद्र मेनन और न्यायमूर्ति वी। के राव की खंडपीठ ने एजेएल की याचिका को खारिज करते हुए उसे आईटीओ के बहादुर शाह जफर मार्ग पर स्थित इमारत को खाली करने का निर्देश दिया था।

एजेएल ने एकल न्यायाधीश के 21 दिसंबर के आदेश को खिलाफ अपील दायर की थी, जिसने शहरी विकास मंत्रालय के खिलाफ दायर एजेएल की याचिका खारिज कर दी थी। शहरी विकास मंत्रालय ने 30 अक्टूबर, 2018 को कहा था कि एजेएल की 56 साल पुरानी लीज समाप्त हो चुकी है। इसलिए उसे परिसर खाली करना होगा।

गौरतलब है कि दिल्ली हाई कोर्ट के फैसले पर कांग्रेस के वरिष्ठ नेता मोतीलाल वोरा ने कहा था कि वह सुप्रीम कोर्ट जाएंगे। एजेएल के वकील निखिल भल्ला ने कहा था कि हम अगले हफ्ते सुप्रीम कोर्ट में फैसले को चुनौती देंगे। इसी के तहत सोमवार को एजेएल ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की गई थी, जिस पर सुनवाई करते हुए शीर्ष कोर्ट ने एजेएल को यह राहत प्रदान की है।