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21 जुलाई से शुरू होगी अमरनाथ यात्रा, 55 वर्ष से जादा उम्र वालों को अनुमति नही

बाबा बर्फानी के भक्तों की इंतजार की घड़ी समाप्त हो गई है। उनके लिए अच्छी खबर है। श्री अमरनाथ श्राइन बोर्ड ने यात्रा शुरू करने को लेकर निर्णय ले लिया है। इस बार वार्षिक अमरनाथ यात्रा 21 जुलाई से आरंभ होकर 3 अगस्त रक्षाबंधन के दिन संपन्न हो गई। यानी यात्रा की अविध केवल 14 दिन रहेगी।

यही नहीं बोर्ड ने यात्रा पर जाने वाले श्रद्धालुओं की आयु सीमा भी निर्धारित कर दी है। साधुओं को छोड़कर यात्रा पर जाने वाले अन्य श्रद्धालु की उम्र 55 वर्ष से कम होनी चाहिए। यात्रा करने वाले सभी लोगों के पास COVID-19 टेस्ट प्रमाणपत्र होना भी अनिवार्य होगा।

यह जानकारी श्री अमरनाथ जी श्राइन बोर्ड (SASB) के एक अधिकारी ने दी है। समुद्रतल से करीब 3888 मीटर की ऊंचाई पर स्थित श्री अमरनाथ की वार्षिक तीर्थयात्रा को लेकर जारी असमंजस अब समाप्त हो गया है। SASB ने यात्रा शुरू करने का फैसला लेते हुए इसका शुभारंभ 21 जुलाई से करने का एलान कर दिया है। इस बार यात्रा केवल बालटाल से होगी। पवित्र गुफा तक के मार्ग से बर्फ हटाकर का काम शुरू हो गया है।

उन्होंने बताया कि यात्रियों के पास COVID-19 टेस्ट प्रमाणपत्र होना अनिवार्य होगा। यह प्रमाण पत्र जम्मू-कश्मीर में प्रवेश करने पर चैक किए जाएंगे परंतु यात्रा शुरू करने की अनुमति देने से पहले वायरस के लिए क्रॉस-चेक भी किया जाएगा। इसके अलावा साधुओं को छोड़कर सभी तीर्थयात्रियों को यात्रा के लिए ऑनलाइन पंजीकरण करना होगा।

बोर्ड बैठक में यह भी तय किया गया है कि कोरोना प्रकोप के कारण जो श्रद्धालु इस बार यात्रा पर आने से वंचित रह गए हैं, उनके लिए भी व्यवस्था की गई है। 14 दिन की यात्रा अवधि के दौरान बाबा बर्फानी की पवित्र गुफा में सुबह और शाम को होने वाली “विशेष आरती” देश भर में लाइव टेलीकास्ट की जाएगी। अधिकारियों ने कहा कि स्थानीय मजदूरों की कमी होने की वजह से बेस कैंप से गुफा मंदिर तक ट्रैक बनाए रखने में कठिनाइयों का सामना करना पड़ रहा है।

बोर्ड का पूरा प्रयास है कि 21 जुलाई से पहले-पहले बालटाल मार्ग को श्रद्धालुओं के लिए तैयार कर दिया जाए परंतु यदि ऐसा नहीं हो पाता है तो भी जिला गांदरबल में बालटाल बेस कैंप से हेलीकॉप्टर का उपयोग करके श्रद्धालुओं को यात्रा करवाने की व्यवस्था की जाएगी।