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मुंबई आतंकी हमले में बचा मोशे भारत यात्रा को लेकर उत्साहित

मुंबई के यहूदी प्रार्थना घर पर 2008 के आतंकी हमले के दौरान जिंदा बचा इजरायली बच्चा मोशे होलत्जबर्ग का अपनी भारत यात्रा को लेकर भावुक और उत्साहित है। वह अगले सप्ताह इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू की चार दिवसीय यात्रा के दौरान उनके साथ भारत आएगा। 11 वर्षीय मोशे के लिए यह यात्रा घरवापसी जैसा है। अपनी यात्रा के दौरान वह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मिलना चाहता है।

मोशे के दादा रब्बी शिमोन रोसेनबर्ग ने बताया, “मोशे 15 जनवरी को मुंबई रवाना होने की तैयारी कर चुका है। वह इसे लेकर काफी भावुक और साथ ही उत्साहित है। वह अपने जन्म स्थान लौट रहा है। उसे अपने स्वर्गीय माता-पिता से जुड़ी कई चीजें देखने का इंतजार है जिनके बारे में उसने मुझसे और नैनी से सुना है। वहां उससे जुड़ी बहुत सारी यादें हैं।”

उन्होंने कहा कि उसे अपने घर में प्रधानमंत्री नेतन्याहू एवं उनकी पत्नी सारा और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की मेजबानी करने का इंतजार है। गौरतलब है कि मोशे जब दो साल का था तब पाकिस्तान स्थित लश्कर-ए-तैयबा के आतंकियों ने नरीमन हाउस (चाबड़ हाउस के नाम से भी जाना जाता है) पर हमले के दौरान उसके माता-पिता रब्बी गैव्रिएल और रिवका होलत्जबर्ग की हत्या कर दी थी। मुंबई में कई स्थानों पर हुए इस आतंकी हमले में 166 लोग मारे गए थे।

ऐसे बचा था मोशे –

माता-पिता के शव के पास रोते मोशे को उसकी भारतीय नैनी (आया) सांद्रा सैमुएल्स ने हिम्मत कर बचाया था। सांद्रा मोशे के साथ इजरालय चली गईं और अब वहीं रहती हैं। इजरायल सरकार ने उन्हें मानद नागरिकता प्रदान कर सम्मानित किया है।

ये होंगे साथ –

इजरायली प्रधानमंत्री ने 14 जनवरी से शुरू होने वाली भारत यात्रा में शामिल होने के लिए मोशे के परिवार को न्योता दिया। मोशे के साथ उनके दादा-दादी शिमोन और येहुदित रोसेनबर्ग, नैनी सांद्रा और एक मनोचिकित्सक जाएंगे। मनोचिकित्सक मोशे को दौरे के लिए मानसिक तौर पर तैयार करने का काम कर रहे हैं। मोशे के परिजन मुंबई में उसकी बार मित्जवाह करना चाहते हैं। 13 वर्ष की उम्र में यहूदी बच्चों का जनेऊ जैसा यह रस्म करने की परंपरा है।

प्रधानमंत्री मोदी भी मिले थे –

यरुशलम में पांच जुलाई को प्रधानमंत्री मोदी से मोशे की मुलाकात हुई थी। मोदी ने जब उसे गले लगाया तो वह भावुक हो गया था। उसने मुंबई जाने की इच्छा जताई थी। प्रधानमंत्री मोदी ने कहा था, “भारत आओ और मुंबई में रहो, तुम्हारा स्वागत है। तुम कभी भी आ सकते हो और कहीं भी जा सकते हो।”

भारत ने मोशे और उनके दादा-दादी को दस साल के कई बार प्रवेश का वीजा जारी किया है। इस मामले में खुद प्रधानमंत्री मोदी ने रुचि दिखाई थी।