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पीरियड्स मे दर्द से रहतीं हैं परेशान, अपनाए ये 3 योगासन…

पीरियड्स के दौरान होने वाले दर्द व अन्य परेशानियों के कारण महिलाओं को काफी कष्ट से गुजरना पड़ता है। इस वजह से उनकी दिनचर्या तक पर प्रभाव पड़ता है। दवाइयों पर ज्यादा निर्भरता भी उचित नहीं होती है। इस स्थिति से गुजरने वाली महिलाएं अगर रोज योगा के कुछ आसन करें तो न सिर्फ उनका पीरियड्स से जुड़ा दर्द दूर होगा बल्कि पीरियड्स रेग्युलर भी बने रहेंगे।

सुप्त बद्ध कोणासन

सबसे पहले पीठ के बल लेट जाएं और फिर बाहों को शरीर के दोनों तरफ सीधे रख लें। हथेलियों को ऊपर की ओर रखें। धीरे-धीरे घुटनों को मोड़ें। पैर के तलवों को नमस्कार की मुद्रा में जोड़ें, इस दौरान उन्हें जमीन से सटाकर रखें। एड़ियों को जांघ के करीब लाएं और करीब 30 सेकंड से लेकर 1 मिनट तक इसे बनाए रखें। हाथों की सहायता से जांघों को दबाएं और फिर सामान्य स्थिति में शरीर को लाएं।

सावधानी: घुटनों, कूल्हों या कमर में दर्द हो या फिर रीढ़ की हड्डी में परेशानी हो तो इस आसन को न करें।

सेतु बंध सर्वांगासन

जमीन पर पीठ के बल सीधे लेट जाएं। घुटनों को मोड़ते हुए एड़ियों को कूल्हों के नजदीक लाएं और फिर उन्हें थोड़ा साइड में ले जाएं। दोनों हाथों से एड़ियों के ऊपरी हिस्से को पकड़ें। इस दौरान अच्छी पकड़ बनाए रहें। अब धीरे-धीरे कमर की ओर से ऊपर की ओर उठें और ब्रिज का आकार बनाएं। छाती के हिस्से को अपनी फेस चिन से टच करवाएं और फिर इस मुद्रा में कुछ सेकंड तक रहें। शरीर को धीरे-धीरे सामान्य पोजिशन में लाएं। आसन के दौरान गहरी सांस लें व छोड़ें।

सावधानी

आपको अगर गर्दन या पीठ से जुड़ी समस्या है तो इस आसन को न करें।

बालासन

सबसे पहले वज्रासन की मुद्रा में बैठें, इसमें आपके पैरों के घुटने के नीचे का हिस्सा मुड़कर जांघों के नीचे रहता है। अपने हाथों को सीधे रखते हुए हथेलियों को घुटनों पर रखें। अब सांस अंदर लें और हाथों को ऊपर की ओर उठाएं। इन्हें कान की सीध में रखें।

सांस बाहर छोड़ते हुए हाथों व कमर के ऊपरी हिस्से को आगे की ओर लाएं। इतना झुकें कि आपकी हथेलियां जमीन को छुएं और सिर जमीन से टक करे। सांस लें और छोड़ें व शरीर को रिलैक्स करें। कम से कम 30 सेकंड तक इस मुद्रा में रहें और फिर वज्रासन की मुद्रा में लौटें। इस कम से कम 5-10 बार दोहराएं।

सावधानी

अगर पेट से संबंधित समस्या है, प्रेग्नेंट हैं या चोट लगी हो तो इस आसन को न करें। शरीर पर ज्यादा दबाव न डालें।