Breaking News

आवश्यक सूचना: प्रदेश जागरण के सभी निर्गत परिचय पत्र निरस्त किये जा चुके हैं | अगस्त 2022 के बाद के मिलने या दिखने वाले परिचय पत्र फर्जी माने जाएंगे |

आज से शुरू है गुप्त नवरात्रि, जानिए पूजा का शुभ मुहूर्त साथ ही जाने पूजा विधि

माघ शुक्ल पक्ष प्रतिपदा तिथि यानी आज से गुप्त नवरात्रि प्रारंभ हो गया है। गुप्त नवरात्रि के दौरान साधक मां के दरबार में नौ दिनों तक पूजन अर्चन के साथ साधना भी करेंगे। देवी भागवत के अनुसार वर्ष के चार नवरात्रि में दो प्रत्यक्ष एवं दो अप्रत्यक्ष होते हैं।

माघ के शुक्ल पक्ष के गुप्त नवरात्रि का विशेष महत्व है। बड़े साधक कलश स्थापना कर विधि-विधान से मां को प्रसन्न करने के लिए साधना करते हैं। माघ महीने के गुप्त नवरात्रि 25 जनवरी से 03 फरवरी तक रहेंगे।

क्या अंतर है सामान्य और गुप्त नवरात्रि में?

  • सामान्य नवरात्रि में आम तौर पर सात्विक और तांत्रिक पूजा दोनों की जाती है।
  • वहीं गुप्त नवरात्रि में ज्यादातर तांत्रिक पूजा की जाती है।
  • गुप्त नवरात्रि में ज्यादा प्रचार प्रसार नहीं किया जाता है, बल्कि अपनी साधना को गोपनीय रखा जाता है।
  • गुप्त नवरात्रि में पूजा और मनोकामना जितनी ज्यादा गोपनीय होगी, सफलता उतनी ही ज्यादा मिलेगी।

क्या होगी गुप्त नवरात्रि में मां की पूजा विधि?

  • नौ दिनों के लिए कलश की स्थापना की जा सकती है।
  • अगर कलश की स्थापना की है तो दोनों वेला मंत्र जाप,चालीसा या सप्तशती का पाठ करना चाहिए।
  • दोनों ही समय आरती भी करना अच्छा होगा।
  • मां को दोनों वेला भोग भी लगायें , सबसे सरल और उत्तम भोग है लौंग और बताशा।
  • मां के लिए लाल फूल सर्वोत्तम होता है पर मां को आक, मदार, दूब और तुलसी बिलकुल न चढ़ाएं।
  • पूरे नौ दिन अपना खान पान और आहार सात्विक रखें।

गुप्त नवरात्रि का महाप्रयोग

  • एक लकड़ी की चौकी पर लाल कपड़ा बिछाएं।
  • उस पर मां की मूर्ति या प्रतिकृति की स्थापना करें।
  •  मां के समक्ष एक बड़ा घी का एकमुखी दीपक जलाएं।
  •  प्रातः और सायं मां के विशिष्ट मंत्र का 108 बार जप करें।
  •  मंत्र होगा – “ऊं ऐं ह्रीं क्लीं चामुंडाय विच्चे”।

ये हैं माघ मास की गुप्त नवरात्रि की पूरी तिथियां-

1- प्रतिपदा तिथि – 25 जनवरी 2020 दिन शनिवार
घटस्थापना, कलश स्थापना, शैलपुत्री पूजा

2- द्वितीया तिथि – 26 जनवरी 2020 दिन रविवार
ब्रह्मचारिणी पूजा

3- तृतीया तिथि – 27 जनवरी 2020 दिन सोमवार
ब्रह्मचारिणी पूजा

4- तृतीया तिथि – 28 जनवरी 2020 दिन मंगलवार
चंद्रघंटा पूजा

5- चतुर्थी तिथि – 29 जनवरी 2020 दिन बुधवार
कुष्मांडा पूजा

6- पंचमी तिथि – 30 जनवरी 2020 दिन गुरुवार
स्कंदमाता पूजा

7- षष्ठी तिथि – 31 जनवरी 2020 दिन शुक्रवार
कात्यायनी पूजा

8- सप्तमी तिथि – 1 फरवरी 2020 दिन शनिवार
कालरात्रि पूजा

9- अष्टमी तिथि – 2 फरवरी 2020 दिन रविवार
महागौरी पूजा, दुर्गा अष्टमी, महाष्टमी पूजा, संधि पूजा

10- नवमी तिथि – 3 फरवरी 2020 दिन सोमवार
सिद्धिदात्री पूजा, नवरात्रि पारण, नवरात्री हवन।