Breaking News

आवश्यक सूचना: प्रदेश जागरण के सभी निर्गत परिचय पत्र निरस्त किये जा चुके हैं | अगस्त 2022 के बाद के मिलने या दिखने वाले परिचय पत्र फर्जी माने जाएंगे |

पाक के आर्मी चीफ बाजवा बोले- पाक मदरसा के स्टूडेंट मौलवी बन रहे या आतंकवादी

पाकिस्तान में कुकुरमुत्तों की तरफ फैल रहे मदरसों को लेकर पाकिस्तान के सेना प्रमुख जनरल कमर जावेद बाजवा ने तीखी आलोचना की है। उन्होंने कहा कि ज्यादातर इस्लाम की शिक्षा देने वाले मदरसों की अवधारणा पर एक बार फिर ध्यान देना होगा। उन्होंने कहा कि पाक मदरसों में पढ़ने वाले बच्चे या तो मौलवी बनेंगे अथवा आतंकवादी।

पाक अखबार ‘डॉन’ में बाजवा के बयान का उल्लेख किया गया है। बलूचिस्तान के प्रमुख शहर क्वेटा में एक युवा सम्मेलन में उन्होंने कहा कि मैं मदरसों के खिलाफ नहीं हूं लेकिन मदरसों की मूल भावना कहीं खो गई है। पाक में मदरसों की शिक्षा अपर्याप्त है, क्योंकि यह छात्रों को आधुनिक दुनिया के लिए तैयार नहीं करती है। बाजवा ने कहा कि ‘मदरसों मे करीब 25 लाख बच्चे पढ़ते हैं लेकिन वे क्या बनेंगे : क्या वे मौलवी बनेंगे अथवा आतंकवादी बनेंगे।’ उन्होंने कहा कि देश में इतने छात्रों को नियुक्त करने के लिए नई मस्जिदें खोलना असंभव है। 

जनरल बाजवा ने कहा कि पाक मदरसों पर अक्सर आरोप लगता है कि वे युवाओं को कट्टरपंथी बना रहे हैं लेकिन यह भी सच है कि देश में लाखों गरीब बच्चों के पास मदरसों के अलावा शिक्षा का कोई दूसरा जरिया तक नहीं है। उन्होंने जोर दिया कि हमें मदरसों की अवधारणा पर दोबारा विचार करके छात्रों को दुनियादारी की शिक्षा देने का रास्ता खोलना होगा। बाजवा ने कहा कि अच्छी तालीम न मिलने के कारण 20 करोड़ से ज्यादा आबादी वाला पाक आगे नहीं बढ़ पा रहा है। अधिकांश मदरसे छात्रों को धार्मिक शिक्षा दे रहे हैं लेकिन उससे देश का भविष्य कैसे बनेगा।

बिना रजिस्ट्रेशन के चल रहे हैं पाक मदरसे

पाकिस्तान में कुल 20 हजार से अधिक मदरसे रजिस्टर्ड हैं जबकि हजारों मदरसे आज भी बिना किसी रजिस्ट्रेशन के ही संचालित हो रहे हैं। कुछ मदरसे तो ऐसे हैं जो सिर्फ एक छोटे से कमरे में ही चल रहे हैं। पाक में संचालित अधिकांश मदरसे देवबंदी हैं, जबकि छोटे मदरसों में मुट्ठी भर छात्र ही कुरान शरीफ पढ़ते हैं। सुरक्षा एजेंसियां भी इन मदरसों पर बराबर नजर बनाए रखती हैं, क्योंकि इनमें छात्रों को कट्टरपंथी बनाया जाता है। इस कारण छात्रों के आतंकवाद की तरफ प्रेरित होने की संभावना बढ़ जाती है।