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कुलभूषण जाधव से मिलीं उनकी मां और पत्नी, बीच में रही शीशे की दीवार

पाकिस्तान की जेल में बंद भारतीय नागरिक कुलभूषण जाधव की उनकी पत्नी और मां के साथ इस्लामाबाद में मुलाकात चल रही है। हालांकि इस मुलाकात के तरीके पर सवाल खड़े हो रहे हैं। मानवीय आधार पर हो रही मुलाकात में जाधव को अपनी मां और पत्नी से सीधे तौर पर नहीं मिलने दिया गया। उनके बीच एक शीशे की दीवार थी और इंटरकॉम के जरिए बात कराई गई। ऐसे में सवाल उठ रहा है कि आखिर इस मुलाकात में मानवीय संवेदनाओं का ख्याल क्यों नहीं रखा गया। इस मुलाकात की विडियो रिकॉर्डिंग भी कराई जा रही है।

 इसके पहले विदेश मंत्रालय में जाधव से मिलने पहुंची मां और पत्नी ने गाड़ी से उतरते ही पहले सबको नमस्ते किया और उसके बाद आगे बढ़ गईं। एयरपोर्ट पर उतरने के बाद दोनों को सख्त सुरक्षा के बीच पहले भारतीय हाई कमिशन ले जाया गया था। जहां से फ्रेश होने के बाद दोनों को विदेश मंत्रालय जाधव से मिलने ले जाया गया। इस दौरान इस्लामाबाद में भारतीय उपउच्चायुक्त जेपी सिंह भी मौजूद रहे। 

पाकिस्तानी मीडिया के मुताबिक, दोनों को पहले भारतीय हाइ कमिशन में ब्रीफ किया गया। आतंकी हमले की आशंका के मद्देनजर ऐंटी टेररिस्ट स्क्वॉड भी तैनात है। भारतीय हाइ कमिशन से विदेश मंत्रालय का फासला सिर्फ 5 मिनट का है। सख्त सुरक्षा व्यवस्था के बीच भारतीय हाइ कमिशन पहुंचाया गया। ‘जियो न्यूज’ के मुताबिक, कुलभूषण की मां और पत्नी आज शाम 4 बजे भारत के लिए रवाना हो जाएंगे। 

बता दें कि पहले दोपहर 1 बजे के करीब जाधव की पत्नी और मां पाकिस्तान विदेश मंत्रालय कार्यालय में उनसे मुलाकात करने वाले थे लेकिन प्लान में कुछ बदलाव हुआ और दोनों को पहले भारतीय हाइ कमिशन ले जाया गया। जाधव को पत्नी और मां से मिलने के लिए करीब 15 मिनट का समय दिया जाना था। हालांकि, भारत ने इस समय को बढ़ाकर कम से कम एक घंटा किए जाने की मांग रखी थी जिसके बाद दोनों को आधे घंटे का समय दिया गया। 

सोमवार को जाधव की अपनी पत्नी और मां की उनसे होने वाली मुलाकात से ठीक पहले पाकिस्तान ने दावा किया कि जाधव को भारत की ओर से राजनयिक मदद पहुंचाने की इजाजत दे दी गई है। पाकिस्तानी मीडिया के हवाले से सामने आए पाकिस्तान के इस दावे को भारत ने खारिज कर दिया। हालांकि, कुछ देर बाद ही पाकिस्तान विदेश मंत्रालय इस बयान से पलट गया और कहा कि जाधव की पत्नी और मां के साथ भारतीय उपउच्चायुक्त का मौजूद रहना कौंसुलर ऐक्सेस नहीं है। दरअसल, जाधव से होने वाली मुलाकात के दौरान उनकी पत्नी और मां के साथ एक भारतीय अधिकारी जेपी सिंह भी मौजूद थे। जेपी सिंह इस्लामाबाद में भारतीय उप-उच्चायुक्त हैं। मुलाकात में जेपी सिंह की मौजूदगी को ही पाकिस्तान के विदेश मंत्री ख्वाजा आसिफ ने ‘राजनयिक पहुंच’ बता दिया था जिसका भारत ने विरोध किया था। 

47 वर्षीय कुलभूषण जाधव को पाकिस्तान की सैन्य अदालत ने कथित जासूसी और आतंकवाद के आरोपों के तहत इसी साल अप्रैल में मौत की सजा सुनाई थी। इसके विरोध में भारत ने अंतरराष्ट्रीय न्यायायलय का दरवाजा खटखटाया था, जहां जाधव की फांसी पर आखिरी फैसले तक रोक लगा दी गई थी। पाकिस्तान लगातार जाधव को राजनयिक मदद पहुंचाने की भारत की अर्जी को भी खारिज करता आया है।