वाराणसी क्षेत्र में डाक विभाग ने 50 दिन में बांटे 10000 रुपे कार्ड

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की ओर से अधिक से अधिक लोगों को रुपे कार्ड देने की घोषणा पर वाराणसी के डाक विभाग ने तेजी से काम किया है।डाक विभाग की ओर से 50 दिन में बनारस रीजन के जिलों बनारस, भदोही, गाजीपुर, बलिया, चंदौली और जौनपुर में 10 हजार खातेदारों को इस कार्ड का वितरण किया जा चुका है।
बैंकों द्वारा खाताधारकों को एटीएम/ डेबिट कार्ड दिए जाते हैं लेकिन पीएम ने अधिक से अधिक खातेदारों को रुपे कार्ड देने की बात कही है।
25 दिसंबर से पीएम की ओर से डिजिटल पेमेंट के प्रति जागरूकता के लिए शुरू की गई मेगा लकी ड्रा स्कीम में ई-वॉलेट और यूपीआई की तुलना में सबसे अधिक रुपे कार्ड का इस्तेमाल करने वाले 12000 लोग पुरस्कृत हो चुके हैं।
इस कार्ड से दस हजार ई-कामर्स वेबसाइट्स पर भी खरीदारी की जा सकती है।
वीजा और दूसरे कार्डों की सेवा पर बैंकों को कंपनियों को हर तीन माह में फीस देनी पड़ती है, मगर रुपे कार्ड पर साल में केवल एक बार फीस देनी पड़ती है।
निदेशक डाक सेवाएं, एसके राय का कहना है कि रुपे कार्ड का प्रयोग करने वालों को बैंकों की तुलना में हर तीन माह में प्रोसेसिंग फीस से छुटकारा मिलेगा।
प्रधान डाकघर कैंट के अधीक्षक जीएस सिंह ने बताया कि यह कार्ड करीब डेढ़ महीने से दिया जा रहा है लेकिन एक जनवरी से इसके प्रयोग करने का दायरा बढ़ने के बाद लेने वालों की संख्या बढ़ी है।
अलग है रुपे कार्ड
- यह राष्ट्रीय भुगतान निगम का स्वदेशी भुगतान प्रणाली पर आधारित एटीएम कार्ड है।
- इससे एटीएम से कैश निकालने के अलावा, स्वाइप मशीन, ऑनलाइन खरीदारी की जा सकती है।
- इसके जरिए ट्रांजेक्शन एटीएम की तुलना में तेज होता है।
- इससे केवल देश में ही ट्रांजेक्शन किया जा सकता है।