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योगी सरकार में पुलिस के खौफ से 15 हजार से अधिक अपराधियों ने किया सरेंडर

 

 

लखनऊ। प्रदेश में कानून व्यवस्था को बेहतर बनाने के लिए उप्र पुलिस जिस तरह से अपराधियों पर शिंकजा कस रही है, उसके ​परिणाम अब नजर आने लगे हैं। सरकारी आंकड़े खुद इस बात की तस्दीक कर रहे हैं कि न सिर्फ बीते लगभग ढाई सालों में राज्य में क्राइम का ग्राफ नीचे गिरा है बल्कि बड़े और गम्भीर अपराधों में भी गिरावट आयी है। इसके साथ ही बड़ी संख्या में शातिर अपराधी या तो मुठभेड़ में मारे गये या फिर गिरफ्तार कर लिये गये।

प्रदेश सरकार के मुताबिक अपराधियों के विरुद्ध जीरो टालरेन्स की नीति के तहत प्रदेश पुलिस की सजगता की बदौलत राज्य में 20 मार्च 2017 से 15 मई 2019 तक पन्द्रह हजार से अधिक (15,170) अपराधी न्यायालय में आत्मसमर्पण कर या स्वयं जमानत निरस्त कराकर जेल चले गये।

मुठभेड़ में 8904 अपराधी गिरफ्तार, 1154 घायल

इसके साथ ही योगी आदित्यनाथ सरकार के कार्यकाल में 27 मई 2019 तक पुलिस व अपराधियों के बीच कुल 3896 मुठभेड़ हुई, जिसमें 8904 अपराधी गिरफ्तार किये गये। वहीं 1154 बदमाश घायल हुए और 76 अपराधी पुलिस की आत्मरक्षा की कार्रवाई में मारे गये। इस दौरान पांच जवान शहीद हुए जबकि 642 पुलिसकर्मी घायल हुए।

चेकिंग में डेढ़ लाख से अधिक मुकदमे दर्ज

एनएसए में 406 व्यक्तियों के विरुद्ध कार्यवाही की गई है। जून 2017, से मई 2019 तक प्रदेश पुलिस ने फूट पेट्रोलिंग से डेढ़ करोड़ से अधिक संदिग्ध व्यक्तियों की चेकिंग करते हुए चार लाख से अधिक व्यक्तियों को हिरासत में लिया। इसमें डेढ़ लाख से अधिक मुकदमे दर्ज कराये गये और संलिप्त 232404 अभियुक्तों को गिरफ्तार किया गया है।

साम्प्रदायिक, तनाव की घटनाओं में गिरावट

इसके साथ ही संगठित अपराध के विरुद्ध सख्ती के लिए प्रदेश सरकार ने यूपीकोका (उत्तर प्रदेश कन्ट्रोल ऑफ आर्गनाइज्ड क्राइम) बिल विधान मण्डल के दोनों सदनों से पारित कराया तथा भारत सरकार को मंजूरी के लिए भेजा। सरकारी आंकड़ों के मुताबिक वर्ष 2018 मे विगत वर्षों की तुलना में साम्प्रदायिक, तनाव की घटनाओं में 66 प्रतिशत, जातिगत तनाव संघर्ष की घटनाओं में 60 प्रतिशत तथा की धर्म परिवर्तन की घटनाओं में लगभग 45 प्रतिशत की कमी आयी है।

बड़े अपराधों का गिरा ग्राफ

सरकारी आंकड़ों के मुताबिक 16 मार्च 2017 से 15 मई 2019 तक में बीते तीन वर्षों की तुलना में प्रदेश में डकैती में 25.29 प्रतिशत लूट में 15.24 प्रतिशत, हत्या में 8.42 प्रतिशत रोड-होल्डप में 100 प्रतिशत फिरौती के लिए अपहरण में 10.75 प्रतिशत, बलात्कार की घटनाओं में भी कमी आयी है। अपराधों को शत-प्रतिशत दर्ज करने के लिए जनपदों को सख्त निर्दश दिय गये है तथा इस उद्देश्य से पहली बार पुलिस अधीक्षक के कार्यालय में एफआईआर काउण्टर खोले गये हैं। 01 जनवरी 2019 से 30 अप्रैल 2019 तक प्रदेश पुलिस ने 1813 दो पहिया व 233 चार पहिया वाहन एवं 54 भारी वाहन बरामद करने में सफलता प्राप्त की है।

14 अपहृतों को सकुशल कराया मुक्त

इसके साथ ही यूपी पुलिस 01 जनवरी 19 से 15 मई 2019 तक 48 अभियुक्तों का गिरफ्तार कर उनके कब्जे से 14 अपहृतों को सकुशल मुक्त कराने में सफल हुई। उप्र पुलिस ने वर्ष 2018 में 19 अभियुक्तों को गिरफ्तार कर उनके कब्जे से 24.62 लाख रुपये की भारतीय जाली मुद्रा प्राप्त करने में भी कामयाबी हासिल की।

भारी संख्या में अवैध हथियार पकड़े

16 मार्च 17 से 15 मई 19 तक की अवधि में पुलिस ने अवैध शस्त्र के विरुद्ध कड़ी कार्रवाई करते हुए फैक्टरी निर्मित 276 बन्दूक, 257 पिस्टल, 145 रिवाल्वर, 176 रायफल, 03 एके 47 और एके 56, 448 देशी निर्मित बन्दूक आदि बरामद की है।