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GST भरने पर नहीं होगी पुराने रिकॉर्ड की जांच: प्रकाश जावड़ेकर

prakash-javadekar_s_650_051015093154नई दिल्ली । केंद्रीय मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने व्यापारियों की उन आशंकाओं को खारिज किया है कि जीएसटी रिटर्न भरना शुरू करने पर पिछले रिकॉर्ड की जांच शुरू हो जाएगी। उन्होंने आश्वासन दिया कि जीएसटी में ऐसा नहीं होगा। हालांकि उन्होंने कहा कि व्यापारी जीएसटी लागू होने के बाद कारोबार की नई पारी शुरू करें और पूरी ईमानदारी से टैक्स भरें।

यहां जीएसटी पर आयोजित एक कार्यक्रम में जावड़ेकर ने व्यापारिक संगठनों की आशंकाओं को दूर करने का प्रयास किया। उन्होंने कहा कि उनके पास ऐसे सवाल आ रहे हैं कि अगर व्यापारी जीएसटी के तहत टैक्स भरना शुरू कर देते हैं और रिटर्न भरने लगते हैं तो उनके पिछले वर्षो का रिकॉर्ड भी खुल जाएगा और उसकी जांच शुरू हो जाएगी।

उन्होंने कहा कि ऐसा नहीं होगा। अब व्यापारी नये सिरे से कारोबार शुरू करें और ईमानदारी से टैक्स भरकर देश के विकास में सहयोग करें। जावड़ेकर ने जीएसटी को सहकारी संघवाद का अच्छा उदाहरण बताते हुए कहा कि प्रधानमंत्री ने एक राष्ट्र- एक टैक्स लागू करके आर्थिक एकीकरण किया है। पहले कारोबारियों और उद्यमियों को चोर समझा जाता था। जीएसटी लागू होने से इंस्पेक्टर राज भी समाप्त हो गया है।

कानूनी सेवाओं पर टैक्स पहले की तरह क्लाइंट को भरना:

सरकार ने स्पष्ट किया है कि अधिवक्ताओं द्वारा दी जाने वाली कानूनी सेवाओं पर जीएसटी लागू होगा लेकिन यह टैक्स भरने की जिम्मेदारी क्लाइंट पर होगी। दिल्ली हाई कोर्ट ने स्पष्टीकरण मांगा था कि क्या अधिवक्ताओं और लॉ फर्मो पर रिवर्स चार्ज मैकेनिज्म के तहत जीएसटी लगेगा। इस पर सेंट्रल बोर्ड ऑफ एक्साइज एंड कस्टम्स ने कहा कि जीएसटी के दौर में विधिक सेवाओं पर कराधान में कोई बदलाव नहीं किया गया है। 

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